सूरत
सूरत के हीरा उधोग में काम करने वाले लाखों हीरा श्रमिकों को राज्य सरकार के इस फ़ैसले से राहत मिलेगी। अब वह अपने वतन जा सकेंगे।
मिली जानकारी के अनुसारराज्य सरकार ने गत रोज एक जिला में से दूसरे जिले में जाने के लिए मंजूरी दे दी हैं। आज से ऑनलाइन अर्जी की जा सकेगी। इसके चलते सूरत में रहने वाले पाँच लाख से अधिक हीरा श्रमिकों को सीधा लाभ होगा। वह अपने वतन जा सकेंगे। उनके लिए ओलपाड, अंकलेश्वर और जंबूसर से उनके गांव भेजने की कार्यवाही की जाएगी।
लॉकडाउन के कारण हीरा उधोग बंद हो जाने ले लाखों हीरा श्रमिक बेरोज़गार हो गए है। हीरा श्रमिकों के संगठनों ने बीते दिनों कई बार राज्य सरकार से हीरा श्रमिकों को लिए निःशुल्क बस चलाने की माँग की थी।श्रमिकों की माँग को देखते हुए राज्य सरकार ने एसटी बस की व्यवस्था करने का फ़ैसला किया है। हीरा श्रमिकों से सिंगल किराया लिया जाएगा।जिन्हे वतन जाना हो वह 30 लोगों की सूची बनाकर एसटी विभाग को दें।
सूरत से लोगों को यदि निजी बस में जाना हो तो 400 किलो मीटर प्रवास के लिए ₹1000 चुकाना होगा, जबकि 500 किलोमीटर के लिए 1200 चुकाने होंगे यदि 500 किलोमीटर से अधिक तो ₹1500 चुकाना पड़ेगा। सोमवार को मुख्यमंत्री के सचिव अश्विनी कुमार ने जानकारी देते हुए बताया कि सूरत के हीरा श्रमिकों को अपने वतन में जाने देने के लिए कई बार गुहार लगाई थी। सौराष्ट्र के लोगों को गांव जाने के लिए एक कमेटी बनाई जा रही है।
कमेटी के अध्यक्ष के तौर पर मंत्री किशोर कानाणी, नगरपालिका कमिश्नर,एम एस पटेल डीसीपी सूरत, डीवायएसपी सूरत और डिप्टी कलेक्टर इस कमेटी में शामिल है। हालांकि क्षेत्र में से दूसरे क्षेत्र में जाने की इजाजत नहीं मिलेगी। जो लोग अपने गांव जाना चाहते हैं उन्हें ऑनलाइन ही अर्ज़ी करनी होगी। मंजूरी मिलने के बाद ही इजाजत दी जाएगी ।जिन लोगों को मंजूरी मिल चुकी है उन्हें मेडिकल स्क्रीनिंग में से गुजरना पड़ेगा।
चेक पोस्ट पर स्क्रीनिंग के बाद ही भेजा जाएगा। पूरी यात्रा के दौरान मास्क पहनना अनिवार्य होगा।सोशल डिस्टेंस का पालन भी करना होगा जिन लोगों को सर्दी ,खांसी आदि की तकलीफ नहीं होगी उन्हें ही परमिशन दी जाएगी। वहां जाने के बाद उन्हें 14 दिनों तक होम क्वारंटाइन में रहना होगा।