भोजन की लाईन में खड़े रहने से है कोरोना संक्रमण का भय!!

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सूरत
बीते दिनों पांडेसरा और लसकाणा में श्रमिकों ने वेतन नहीं दिए जाने और भोजन की असुविधा के कारण वतन जाने की मांग को लेकर बवाल किया था। इसके बाद प्रशासन हरकत में आ गया है।


शहर के कई औघोगिक संगठन श्रमिकों को भोजन नहीं दे रहे या वेतन नहीं दे रहे ऐसी शिकायत के चलते लेबर डिपार्टमेंट के आसिस्टेन्ट कमिश्नर आशीष गांधी ने शुक्रवार को पांडेसरा क्षेत्र में श्रमिकों के घरों पर जाकर पूछताछ की। इस दौरान श्रमिकों ने कहा कि हमें तैयार भोजन नहीं पर राशन किट दे दी जाए क्योंकि तैयार भोजन के लिए लंबी लाइन लगानी पड़ती है और पूरा परिवार एक साथ आ भी नहीं पाता । इस तरह से लाइन में खड़े रहने से संक्रमण का भय भी रहता है।इसलिए यदि राशन किट दी जाए तो हम घर पर जाकर आराम से भोजन बनाकर खा सकते हैं ।

श्रमिकों से पूछताछ के दौरान लेबर असिस्टेंट कमिश्नर नेउन्हें औद्योगिक संगठनों की ओर से मिल रही तमाम सुविधाओं की जानकारियां ली।उन्होंने पूछा के औद्योगिक संगठन समय समय पर भोजन देते हैं या नहीं ?श्रमिकों का वेतन हुआ है या नहीं इन तमाम चीज़ों के बारे में जानकारी एकत्रित की। इस दौरान

पांडेसरा वीवर्स एसोसिएशन के प्रमुख आशिष गुजराती सेक्रेटरी विमल बेकावाला तथा ट्रेजरर राजेश भाई पटेल आदि उपस्थित रहे।
उल्लेखनीय है कि शहर के पांडेसरा और लसकाणा क्षेत्र में बीते दिनों लूम्स कारख़ाने में काम करने वाले श्रमिकों ने उन्हें भोजन की व्यवस्था नहीं होने के कारण हंगामा किया था । वह सडकों पर बाहर निकल आए थे इसके बाद प्रशासन हरकत में आ गया ।

प्रशासन ने श्रमिकों को मिलने वाली तमाम सुविधाओं का जायज़ा लेने का निर्देश दिया है ।इसके चलते पुलिस प्रशासन और लेबर विभाग हरकत में आ गया है। शहर से अलग अलग औघोगिक क्षेत्रों में जाकर श्रमिकों को मिलने वाली तमाम सुविधाओं का रिपोर्ट बना रहे है।