नए-नए कारणों से विवाद में रहने वाला चीन अब एक और नए विवाद में है। चीन की कंपनी ने दुनिया की महासत्ता कहे जाने वाले अमरीका को चपत लगा दी है। अमरीका के न्याय विभाग ने चीन की एक कंपनी के खिलाफ 50 लाख नकली मास्क बेचने की शिकायत की है।
न्यूयार्क की ब्रुकलिन फेडरल कोर्ट में दाखिल शिकायत में बताया गया है कि चीन के ग्वांगडोंग में स्थित एक कंपनी ने एन-95 मास्क की तीन बेंच भेजी। अमरीकन न्याय विभाग का कहना है कि 495200 मास्क ही भेजे है।मास्क आयातकर्ता ने कहा कि इसके लिए उसने 10 लाखों डॉलर से अधिक चुकाए हैं। इस मामले की जाँच कर रहे अधिकारी ने बताया कि चीन की कँपनी की इस हरकत से अमेरिकनों की सुरक्षा को नुक़सान पहुँचा है। शिकायत में चीन की कंपनी पर मिस ब्रान्डेड. नकली आरोग्य उत्पादकों का उत्पादन करने और युएस फूडस एंड ड्रग्स विभाग को धोखा देने की बात कही गई है। प्रत्येक आरोप की महत्तम सजा पांच लाख डॉलर है।
उल्लेखनीय है कि इसक पहले चीन से भारत मे भी कोरोना की जांच के लिए रैपिड टेस्ट की कीट आई थी। इसके परिणाम में भी बार बार वेरिएशन आने के कारण इस पर प्रतिबंध लगाना पड़ा था।
-ओलपाड की कंपनी की बोइलर में ब्लास्ट, पाँच घायलों में से तीन गंभीर
सूरत में बड़ी कंपनियों में दुर्घटना का सिलसिला नहीं रुक रहा। एक दिन पहले सचिन के सेज में एक पैकेजिंग कंपनी में आग लगने के बाद अब सूरत के ओलपाड के बरबोधाम गांव में रामा पेपर मिल में बॉयलर में ब्लास्ट लग होने के कारण जल जाने से 5 श्रमिक झुलस गए। इन तमाम लोगों को सूरत के निजी अस्पताल में दाखिल किया गया है। इनमें से तीन की हालत गंभीर है।
मिली जानकारी के अनुसार सूरत के ओलपाड तहसील में बरबोधान नाम के गांव में राम पेपर मिल है। इसमें सवेरे 8:00 बजे के करीब अचानक बॉयलर में जोर से ब्लास्ट हुआ। ब्लास्ट की आवाज आजू बाजू के गांव में भी सुनाई दी।
ब्लास्ट इतना गंभीर था कि यहां पर भगदड़ मच गई। ब्लास्ट में 5 श्रमिक बुरी तरह जल गए हैं। इनमें से 3 श्रमिक सुरेंद्र यादव, मनोज यादव, बृजेश मुखिया की हालत गंभीर है।
इस घटना के कारण स्थानीय ग्रामीणों में नाराजगी का माहौल है उनका कहना है कि यदि इतनी बड़ी कंपनी में ऐसी घटना हो सकती है तो हम भी सुरक्षित नहीं है घटना के चलते प्रशासन ने जांच शुरू कर दी है।
डेस्क
कोरोना के कारण दुनिया में अब तक 95000 लोगों ने जान गवा दी है। कोरोना का सबसे ज्यादा असर अमेरिका में देखा जा रहा है। अमेरिका में अब तक 4.30 लाख पॉजिटिव केस दर्ज हो चुके हैं और 16000 के करीब लोगों की जान जा चुकी है बताया जा रहा है कि अब तक दुनिया में 3.30 लाख लोगों का उपचार कर हॉस्पिटल से घर भेजा जा चुका है ।
कोरोना जोकि अब दुनिया के लिए महामारी बनता जा रहा है उसने दुनिया के सभी देशों में भयका माहौल पैदा कर दिया है ।गुरुवार को न्यूयॉर्क में 500 से अधिक लोगों की जान गई थी ।
जबकि ,अमेरिका में 16 हज़ार लोगों को जान से हाथ धोना पड़ा ।अभी तक इटली में 18000 लोगों को जान गवानी पड़ी है ।इटली में अब तक कोरोना के 140000 केस दर्ज हुए हैं।
स्पेन में भी यही हालात है ।वहां डेढ़ लाख केस दर्ज हुए हैं ।जर्मनी में भी एक लाख से अधिक पॉजिटिव केस दर्ज हो चुके हैं । कोरोना जहां लोगों की जान ले रहा है। वहीं अर्थतंत्र को भी बुरा असर पहुंचा रहा है।भारत सहित दुनिया के सभी देशों में भय का माहौल है ।ऐसे में व्यापार धंधा बंद होने।करोड़ों लोगों को रोजगारी से हाथ धोना पड़ा है ।
इसलिए अर्थतंत्र भी चौपट हो रहा है ।बताया जा रहा है कि कोरोना के बाद देशों को अर्थतंत्र चलाने के लिए कड़ी मशक्कत करनी पड़ सकती है ।यदि देखा जाए तो अब तक इटली में जानहान् सबसे अधिक हुई है। इसके बाद अमेरिका,फ्रांस ,ब्रिटेन ,आदि देश आते हैं ।
भारत में भी परिस्थिति धीरे-धीरे गंभीर होते जा रही है ।भारत में भी अंदाज़न 6000 से अधिक केस दर्ज हो चुके हैं मृतकों की संख्या 200 के आसपास पहुंच गई है ।भारत में कई राज्यों ने लोक डाउन बढ़ाने के लिए केंद्र सरकार से गुहार लगाई है ।
हालांकि अभी इस पर फैसला नहीं किया गया है लेकिन एक-दो दिन में ही इस पर फैसला आ जाएगा ।भारत में यूपी, पंजाब ,केरल ,राजस्थान ,मध्य प्रदेश ,महाराष्ट्र आदि राज्यों ने सरकार से लॉकडाउन बढ़ाने के लिए मांग की है ।
उल्लेखनीय है कि केंद्र सरकार की ओर से अभी तक इस पर फैसला नहीं किया गया है ।सरकार ने इस पर राज्यों की राय मांगी है ।दुनिया में कोरोना की महामारी जिस तरह फैल रही है उसे देखते हुए वैश्विक चिंता का माहौल बन गया है।
डेस्क
कोरोना के कारण अब तक दुनिया भर में 88000 लोगों को जान से हाथ धोना पड़ा है और लगभग 325000 लोगों को ठीक हो जाने के बाद हॉस्पिटल से छुट्टी दी गई है।
दुनिया के समृध्द देश भी परेशान
बताया जा रहा है कि अमेरिका में कोरोना के पॉजिटिव मामले बढ़ने से चिंता का माहौल है।अब तक 14500 लोगों की जान जा चुकी है, जबकि पॉजिटिव मामले भी बड़ी संख्या में है। न्यूयॉर्क में बीते 24 घंटे में 770 लोगों की जान गई है।कोरोना वायरस के कारण अमेरिका में 11 भारतीयों की भी जान गई है। जबकि 15 पॉजिटिव होने की बात सामने आ रही है । अमेरिका ही नहीं दुनिया के अन्य देशों से लड़ते-लड़ते हाफ गए हैं। स्पेन की बात करें तो यहां पर अब तक 14,500 लोगों की जान जा चुकी है|
भारत ने की मदद
अमेरिका ने कोरोना से लडने के लिए दवाए मांगी थी, जो कि भारत ने मान ली है। अमेरिका ही नहीं ब्राजील और अन्य कई देश भी भारत से दवाई के लिए गुहार लगा रहे हैं। आंकड़ों में बात करें तो अब तक भारत में कोरोना के लगभग 5900 संक्रमित लोगों की जानकारी आई है। इसमें से 176 लोगों की जान जा चुकी है। जबकि अमेरिका में सवा चार लाख लोगों से अधिक के संक्रमित होने की जानकारी आई है। इनमें से 14500 से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है ।जर्मनी में 110000 लोगों के संक्रमित होने की जानकारी है, जिनमें कि 2300 लोगों की जान जा चुकी है।चीन जोकि कोरोना का उद्भव स्थान माना जा रहा है वहां 3300 लोगों की जान जा चुकी है ।
भारत मे लॉकडाउन पर समीक्षा
उल्लेखनीय है कि भारत सरकार ने कोरोना से लड़ने के लिए देश में 21 दिनों का लॉकडाउन लगा रखा है ।इसके चलते रेलवे मार्ग, हवाई यात्रा आदि सब कुछ बंद है। अब 21 दिनों का लोक डाउन धीरे-धीरे समाप्त हो रहा है। ऐसे में केंद्र सरकार इसे चालू रखा जाए या बंद कर दिया जाए पर विचार कर रही है ।हालांकि कई राज्यों ने लॉकडाउन बढ़ाने की मांग भी कर दी है ।इस बारे में अंतिम निर्णय आगामी दो-तीन दिनों में किया जाएगा।
रोग प्रतिकारक शंकित बढ़ाए, और घर पर रहें
बताया जा रहा है कि कोरोना के कारण ज़्यादातर वृद्ध आर जेन के रोग प्रतिकारक शक्ति कम है उन्हें संक्रमण जल्दी से लग रहा है।मृतकों में भी वृद्धों की संख्या ज़्यादा है कोरोना वायरस रोग प्रतिकारक सत्य का मुँह ऐसे लोगों को जल्द ही शिकार बनाता है। बिन ज़रूरी कहीं जाने से बचें।
डेस्क
कोरोना ने जहां दुनिया को एक बार महा मुसीबत के भंवर में डाल दिया है, वहीं अब संकटमोचक बनकर गुजरात दुनिया की फलक पर छा गया है। गुजरात से कोरोना के लिए इस्तेमाल की जाने वाली दवाई हाइड्रोक्सी क्लोरोक्वीन अब दुनिया के अन्य देशों में निर्यात की जाएगी।
अमेरिका ने भारत से हाइड्रो क्लोरोक्वीन के लिए मदद मांगी थी, जिसके लिए भारत तैयार होने की बात सामने आ रही है।गुजरात की तीन कंपनियों में फिलहाल इस दवा का उत्पादन हो रहा है, और जल्दी ही यहां से अमेरिका के लिए निर्यात किए जाने की संभावना है।
फिलहाल गुजरात की तीनों कंपनियों में उत्पादन हो रहा है,जहां कि जल्दी ही 2500000 टन दवा का उत्पादन होने लगेगा। तीनों कंपनियों ने गुजरात के लिए एक करोड़ हाइड्रो क्लोरोक्वीन का स्टॉक रख लिया है।
मिली जानकारी के अनुसार कुछ दिनों पहले ही कोरोना से लड़ने के लिए अमरीका ने भारत सरकार से मदद मांगी थी और निर्यात पर छूट देने को कहा था। इसे लेकर भारत और अमेरिका के बीच कुछ माहौल गर्म भी हो गया था ।क्योंकि अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने अपने भाषण के दौरान कहा था कि भारत और अमेरिका के बीच व्यापारिक संबंध अच्छे हैं।लेकिन यदि भारत जल्दी हाइड्रोक्लीन नहीं भेजता तो उन्हें आश्चर्य होगा।
इस बात को लेकर अमेरिका और भारत में कुछ माहौल बिगड़ गया था। हालांकि इसके बाद भारत ने जरूरतमंदों को दवा निर्यात करने की बात कही थी ।भारत ने कहा कि वह सबसे पहले अपने घरेलू खपत को ध्यान में रखेगा ।इसके बाद आवश्यकता के अनुसार दूसरे देशों पर निर्यात के लिए सोचेगा।
आपको बता दें कि ब्राजील के राष्ट्रपति ने भी भारत से हाइड्रोक्सी क्लोरोक्वीन दवा की मांग की है। इस पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी मदद का आश्वासन दिया है।इसके चलते ब्राजील ने प्रधानमंत्री मोदी को एक पत्र लिखा, जिसमें कि इस मदद के लिए मोदी की तुलना रामायण में संजीवनी लेकर पहुंचे हनुमान जी के साथ की गई है।
हाइड्रोक्सी क्लोरोक्वीन दवा गुजरात में तीन कंपनियां बनाती हैं जिसमें की अहमदाबाद वडोदरा और वलसाड की कंपनियों का नाम आता है।
अमरीकी राष्ट्रपति ने भारत की ओर से दवा निर्यात किए जाने के फ़ैसले के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और भारत के लोगों की जमकर तारीफ़ की है
डेस्क
कोरोना का हाहाकार अब दुनिया पर गंभीर खतरा बनकर मंडराने लगा है ।दुनिया भर में 1000000 से अधिक लोगों को कोरोना का संक्रमण हो चुका है, वहीं 52 हजार के करीब लोगों की कोरोना के कारण मौत हो चुकी है ।
बताया जा रहा है कि कोरोना की महामारी कई देशों में नियंत्रण के बाहर हो चुकी है ।जैसे कि अमेरिका में ही कोरोना संक्रमण के कारण सवा दो लाख लोगों को उपचार दिया जा रहा है ।जर्मनी में कोरोना से एक ही दिन में 6000 संक्रमण केस दर्ज हुए इसके साथ ही जर्मनी में कोरोना संक्रमितो की संख्या 80000 के पार हो गई है ।
स्पेन जर्मनी और अमेरिका जैसे देशों में कोरोना संक्रमण के कारण लाखों लोग पीड़ित हैं । स्पेन की बात करें तो वहां 10,000 से अधिक लोग की मौत हो चुकी है ।और एक ही दिन में 700 लोगों की मौत हो चुकी है । फ्रांस में भी 471 लोगों की मौत के कारण मृतांक 4805 गया है ।बताया जा रहा है कि अमेरिका भी कोरोना संक्रमण के मामले में बहुत तेजी से आगे बढ़ रहा है ।वहां पर लगभग सवा दो लाख केस दर्ज हुए हैं मृतांक 5500 के करीब है !
इटली में अब तक 114000 संक्रमण के मामले आएऔर 14000 लोगों की जान जा चुकी है !उल्लेखनीय है कि विदेश तो ठीक भारत में भी कोरोना के कारण पीड़ितों की संख्या बहुत तेजी से बढ़ रही है भारत सरकार ने इस पर कंट्रोल लगाने के लिए 21 दिन का लॉक डाउन किया है ।इसके बावजूद अभी तक करोना पीड़ितों की संख्या बढ़ती ही जा रही है बताया जा रहा है कि भारत में अब तक 2500 कोरोना संक्रमण के मामले सामने आ चुके हैं ।
भारत सरकार ने राज्य सरकारों को भी कोरोना पीड़ितों के लिए विशेष व्यवस्था करने का आग्रह किया है प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी खुद खुराना के मामले में गंभीरता से कदम उठा रहे हैं ।महाराष्ट्र में सबसे अधिक 335 केस दर्ज किए गए हैं ।
तमिलनाडु में एक ही दिन में 110 पॉजिटिव के सामने आए हैं गुजरात की बात करें तो अब तक 90 कोरोना के मामले सामने आ चुके हैं ,और यहां प्रशासन ने तारीख तैयारियां कर रखी है
सूरत
दिल्ली के निज़ामुद्दीन में आयोजित धार्मिक कार्यक्रम में देशभर से लोग पहुँचे थे। मध्य प्रदेश से 107, हैदराबाद के 186 तथा यूपी से मरकज जाने वाले 157 लोग शामिल हुए थे। उनमें से 95% को ट्रेस कर लिया गया है।
सभी राज्यों ने दिल्ली प्रशासन से उनके राज्यों से कितने लोग गए थे इसकी जानकारी माँगी है।राजस्थान ने भी उन लोगों की लिस्ट मंगवाई है, जो मरकज में शामिल हुए थे। हालांकि, राज्य सरकार के पास अभी यह जानकारी नहीं है कि कितने लोग यहां से मरकज में गए थे।
बताया जा रहा है कि दिल्ली पुलिस ने कोरोना वायरस के चलते देश भर में लगाए गए लॉकडाउन का उल्लंघन करते हुए धार्मिक सम्मेलन आयोजित किये जाने पर आयोजनकर्ता के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है। वहीं, मरकज को सील कर आवश्यक कार्रवाई की जा रही है।
सरकार का कहना है कि 21 मार्च तक हजरत निजामुद्दीन मरकज में करीब 1 हजार 746 लोग ठहरे हुए थे। इनमें 216 विदेशी और 1530 भारतीय थे।
मरकज के कार्यक्रम के अलावा देश के अलग-अलग हिस्सों में 824 विदेशी 21 मार्च तक तब्लीगी की गतिविधियों में शामिल थे। राज्यों की पुलिस को देश के अलग-अलग हिस्सों में मौजूद 824 विदेशियों की जानकारी दे दी गई थी, ताकि उनकी मेडिकल स्क्रीनिंग और क्वारैंटाइन के इंतजाम किए जा सकें।
इसके बाद 28 मार्च को सभी राज्यों को भारतीय तब्लीगी जमात के लोगों की जानकारी इकठ्ठा करने की सलाह दी गई थी, ताकि उन्हें जांच के बाद क्वारैंटाइन किया जाए।
मरकज में शामिल होने के लिए करीब 2100 विदेशी पहुंचे। इनमें श्रीलंका, बांग्लादेश इंडोनेशिया, मलेशिया, थाइलैंड, नेपाल, म्यांमार, और किर्गिस्तान के लोग शामिल हैं।
अब तक मरकज में शामिल होने वाले लगभग 2100लोगों की मेडिकल जांच की जा चुकी है। 1340 लोगों को में क्वारैंटाइन किया गया है। लगभग 280 में कोरोना के लक्षण पाए गए थे, जिन्हें दिल्ली के अलग-अलग अस्पतालों में दाखिल कराया है। उल्लेखनीय है कि यहाँ पर कई राज्यों के लोग होने के कारण कई राज्यों पर कोरोना का ख़तरा मंडराने लगा है।
अब तक मरकज से 1500 लोगों को निकाला जा चुका है।
कोरोना वायरस के कारण अब तक ज़्यादातर वृध्ध मौत के शिकार हो रहे थे। लेकिन आज अमेरिका में कोरोनों के कारण एक 11 महीने के बच्चे की मौत हो गई है। दुनिया में कोरोना के कारण बच्चे की मौत का पहला मामला है।
इस घटना के बाद अमरीका सरकार की चिंता और बढ गई है। अमेरिकी स्वास्थ्य विभाग के अनुसार, इलिनोइस राज्य में शनिवार को कोविद -19 से पीड़ित बच्चे की उपचार के दौरान मौत हो गई। यह बच्चा 11 महीने का था। इसे शिकागो की अस्पताल में दाखिल किया गया था। बच्चे को पिछले 24 घंटों के भीतर कोरोना से संक्रमित होने की आशंका व्यक्त की जा रही है। अब तक, कोरोना के कारण मरने वालों में वृध्धो की संख्या में ज्यादा है।
अमेरिका में आज हुई बच्चे की मृत्यु को कोरोना की पहली बाल मृत्यु माना जा सकता है। अमेरिका के स्वास्थ्य विभाग के प्रवक्ता ने इस बारे में जानकारी देते हुए बताया कि अभी तक किसी बच्चे में कोरोना का मामला नही देखा गया था। यह पहला मामला है।इस घटना से अमेरिकी सरकार भी भी चिंतित है।
उल्लेखनीय है कि कोरोना रोगियों की संख्या अमरीका में सबसे अधिक है यहाँ 1.२० लाख से अधिक लोग कोरोना से संक्रमित होने की जानकारी सामने आ रही है। अमेरिकी सरकार कोरोना को फैलने से रोकने के लिए सारे संभव प्रयास कर रही है। इसके बावजूद वहाँ भी परिस्थिति बिगड़ रही है। इटली की हालत सबसे बद्तर है वहाँ अभी तक 10 हज़ार से अधिक लोगों की जान जा चुकी है।
कोरोना ने दुनिया के लगभग सभी देशों पर कहर बरसाया है। सबसे पहले चीन में कोरोना का मामला सामने आने के बाद अब दुनिया के ज्यादातर देश इसकं चंगुल में फंस गए हैं। अब तक कुल 6 लाख लोग कोरोना पॉजिटिव दर्ज किए गए हैं। कोरोना के कारण कुल मृतांक 27000के आसपास पह पहुंच गया है।
कोरोना संक्रमण के मामले में भारत अभी 900 के आसपास हैं और यहां पर मृतांक 20 होने की जानकारी सामने आ रही है। वहीं दूसरे देशों की हालत भी नाजुक हो गई है। अमरीका में 1.04 लाख कोरोना के पॉजिटिव मरीज दर्ज हुए हैं।सूत्रो से मिली जानकारी के अनुसार इटली की हालत भी अमरीका जैसी नाजुक है अब तक यहां कोरोना के कारण 9134 लोगों की जान जा चुकी है। शुक्रवार को यहां एक दिन में ही 4300 लोगों को कोरोना रिपोर्ट पॉजिटिव आया था। फ्रांस भी इसी क्रम में आगे बढ रहा है। बताया जा रहा है कि यहां भी एक ही दिन में 290 लोगों की जान गई। बेल्जियम में भी अब तक 300 लोगों की जान जा चुकी है। नेधरलेन्ड में 550 और स्वीडन में 105 लोगों का जान से हाथ धोना पड़ा है।
भारत सरकार ने कोरोना को रोकने के लिए हर संभव प्रयास शुरू कर दिया है। यहां पर 14 अप्रेल तक लॉकडाउन है यदि परिस्थिति संभली तो ठीक नहीं तो और कड़े कदम उठाए जा सकते हैं।
अमेरिका में कुल 85594 मामले सामने आए हैं, जबकि चीन में अब तक 81340 मामले सामने आए हैं
डेस्क
कोरोना वायरस चीन से ज़्यादा अब अमेरिका के लिए परेशानी का सबब बन गया है। अमरीका में कोरोना के कुल 85594 मामले सामने आए हैं, जबकि चीन में अब तक कुल 81340 पॉज़िटिव मामले सामने आए हैं। मृतकों की संख्या में अब तक ईटाली सबसे आगे और स्पेन उसके बाद आता है। कोरोना ने दुनिया के १९५ देशों में क़हर बरसाया है। अब तक दुनिया में अंदाजन सवा पाँच लाख दर्ज हो चुकें है। २४ हज़ार से अधिक लोगों की जान जा चुकी है। अँदाजन १.२५ लाख लोगों को छुट्टी दी जा चुकी है।
शायद ही कोई देश ऐसा हो जो अब कोरोना से अछूता रह गया है।चीन में अभी भी कुछ मामले सामने आ रहे हैं।पिछले 24 घंटों में चीन में कोरोना के दर्ज 54 मामले विदेशों से और एक स्थानीय संक्रमण के से दर्ज किया गया था। पांच लोग की मौत हो गई हैं। वुहान में कोई मामला दर्ज नहीं किया गया है। चीन में अभी पॉज़िटिव केस की संख्या ३४६० है।
इटली और स्पेन में मरने वालों की संख्या चीन की तुलना में अधिक है। इटली में अब तक ८२१५ लोगों की मौत हो चुकी है। स्पेन में ४३६५ लोग मारे गए और चीन में ३२ ९ ३।
उल्लेखनीय है कि इस रोग के कारण भारत में अब तक १८ लोगों के मारे जाने की जानकारी सामने आ रही है। भारत सरकार ने पूरे देश में लॉकडाउन कर दिया है