सूरत में कोरोना संकट गहराया, 14 की मौत

सूरत में कोरोना के कारण दिन प्रतिदिन परिस्थिति गंभीर होते जा रही है। बुधवार को 10 लोगों की मौत के बाद गुरूवार को 14 लोगों की मौत हो गई और 960 लोग नए संक्रमित आए। 


मिली जानकारी के अनुसार गुरूवार को सूरत शहर में 723 और ग्राम्य क्षेत्र में 237 मिलाकर कुल 960 मरीज दर्ज हुए। कुल आंकडो की बात करें को अब तक सूरत शहर में कुल 54387 और ग्राम्य में 16406 मरीज दर्ज हुए। इनमें शहर में 51259 और ग्राम्य में 14437 मरीज मिलाकर 65696 लोगों डिस्चार्ज किया गया। फिलहाल 4313 लोग एक्टिव है। जोन के अनुसार बात करें तो सेन्ट्रल जोन में 82,वराछा ए में 81,वराछा बी में 71,रांदेर में 111,कतारगाम में 86,लिंबायत में 78,उधना में 85, अठवा में 129 मरीज दर्ज हुए। 


शहर में आज कोरोना के कारण जिन लोगों की मौत हुई उनमें कतारगाम की 62 साल की महिला, उधना जोन के 55 साल के पुरूष, लिंबायत की 65 साल की महिला, उधना की 79 साल की महिला, उधना की 65 साल की महिला,अठवा जोन के 45 साल के पुरूष, वराछा बी जोन की 61 साल की महिला, सेन्ट्रल जोन के 70 साल के पुरूष, रांदेर के 38 साल के पुरूष, कतारगाम की 47 साल की महिला, वराछा बी जोन के 57 साल के पुरूष, कतारगाम जोन के 50 साल के पुरूष, उधना जोन की 57 साल की महिला, रांदेर जोन के 62 साल के पुरूष शामिल है।

सूरत में परिस्थिति बिगडते देख एम्स के डॉक्टर्स की एक टीम सूरत पहुंची है। जो कि रिपोर्ट तैयार कर भेजेगी। इस बीच सूरत सिविल होस्पिटल में आपातकालीन ओपीडी के अलावा सभी ओपीडी बंद कर दी गई है।

शिक्षको को अब कोरोना की गाइडलाइन का भंग करने पर कार्रवाई की जिंम्मेदारी


सूरत में सूरत में प्रतिदिन कोरोना के मामले तेजी से बढ रहे है। पिछले कुछ दिनो से लगातार 600 से अधिक मरीज आ रहे है और मृतांक भी बढा है। कई क्षेत्र बुरी तरह से कोरोना से संक्रमित हो चुके है। इसके बाद भी लोग गाइडलाइन का पालन नहीं कर रहे। सिविल होस्पिटल के साथ निजि होस्पिटल भी भर गए हैं।

मनपा का स्टाफ दिन रात मेहनत कर रहा है। अब तो निगम के पास स्टाफ की भी कमी होने लगी है। जिसके चलते नगर निगम ने नगर प्राथमिक शिक्षण समिति के शिक्षको को भी काम देने का निर्णय कर लिया है। इस बार शिक्षकों को कटेंटेमेंट जॉन और बेरिकेडिंग का भंग करने वाले लोगों एक खिलाफ कार्यवाही करने की ज़िम्मेदारी सौंपी गई है।


शहर में जहां जहां कोरोना के केस अधिक है वाहन तंत्र द्वारा कंटेंटमेंट जॉन बनाकर पतरे और बांस की सहायता से बेरिकेडिंग कर दी गई है। हालांकि इसके बाद भी लोग बेरिकेड तोड़ कर आना-जाना कर रहे है। इसके कारण भी संक्रमण बढ़ रहा है। जिसको लेकर अब नगर प्राथमिक शिक्षण समिति के शिक्षकों को बेरिकेड भंग कर के आने-जाने वाले लोगों को रोकने की ज़िम्मेदारी दी गई है। जिसके लिए नगर निगम द्वारा ऑर्डर भी कर दिये गए है।


फिलहाल समिति के शिक्षकों को ऑनलाइन शिक्षण, परीक्षाएँ और उनकी मार्किंग के साथ अनाज वितरण का काम सौंपा गया है। ऐसे में एक और काम देकर उनके ऊपर वर्कलोड बढ़ाया जा रहा है। जिसे लेकर शिक्षको में काफी नाराजगी भी देखी जा रही है। यहीं नहीं भूतकाल में भी जब शिक्षकों को इस तरह के काम में जोड़ा गया था, तब उनके साथ बुरा व्यवहार भी हुआ था। जो काम पुलिस का है वह काम शिक्षको को देने के चलते सभी में काफी नाराजगी देखने मिली है। बीते साल भी कोरोना के दौरान शिक्षको को कई तरह की जिम्मेदारियां दी गई थी।

सूरत: कोरोना के कारण सात की मौत, नए 811 मरीज


सोमवार को सूरत में 603 मरीज दर्ज होने के बाद मंगलवार को भी यह गति बनी रही। मंगलवार को सूरत शहर में 615 और ग्राम्य क्षेत्र में 193 मिलाकर कुल 811 मरीज दर्ज हुए। शहर और जिले में अब तक कुल संक्रमितों की संख्या 69464 पर पहुंची है। मंगलवार को सूरत में सात लोगों की मौत हो गई। अभी तक शहर में कोरोना से 922 और ग्राम्य में 288 मरीजों को मिलाकर कुल 1210 की मौत हो चुकी है। मंगलवार को शहर और ग्राम्य में 744 लोगों को डिस्चार्ज किया गया। अब तक कुल 64355 लोगों को डिस्चार्ज किया गया है।

अभी कोरोना के एक्टिव मरीजों की संख्या 3899 हैं।मंगलवार को नए 615 कोरोना संक्रमित मरीजों में से शहर में सबसे अधिक मरीज अठवा जोन से 109, रांदेर जोन से 100, लिंबायत जोन से 71, कतारगाम जोन से 79, सेन्ट्रल जोन से 68, वराछा-ए जोन से 64 वराछा-बी जोन से 57 और उधना जोन से 67 नए मरीज है।मंगलवार को मृतको में वराछा जोन के 82 साल के पुरूष,लिंबायत जोन के 59 साल के पुरूष, उधना जोन के 68 साल के पुरूष, वराछा बी जोने के 53 साल के पुरूष, अठवा जोने के 45 साल के पुरूष, लिंबायत जोने के 55 साल के पुरूष,रांदेर जोन के 86 साल के पुरूष थे।
उल्लेखनीय है कि सूरत में सोमवार में कोरोना की परिस्थित का जायजा लेने के लिए मुख्यमंत्री विजय रूपाणी ने सूरत में उच्च अधिकारियों के साथ मीटिंग की और 300 वेन्टिलेटर बढाने की घोषणा की

वुहान: कोरोना से ठीक हुए मरीजों के फेफडों पर गंभीर असर

चीन के वुहान में कोरोना के कारण ठीक होने वाले मरीजों के फेफड़े खराब हो गए हैं। इतना ही नहीं कोरोनावायरस से ठीक हो चुके 5% मरीज फिर से अस्पताल में कोरोनावायरस लिए दाखिल हुए हैं।

चीन में कोरोना की शुरूआत वहीं से हुई थी। वुहान यूनिवर्सिटी के डॉक्टर ने बीते दिनों एक सर्वे किया था, जिसमें की यह खुलासा हुआ था कि हॉस्पिटल के इंटेंसिव केयर यूनिट के डायरेक्टर पेंग जियोंग के नेतृत्व में वुहान यूनिवर्सिटी के झांगनेन हॉस्पिटल में एक टीम सर्वे का कार्य कर रही है। इस टीम ने वुहान में कोरोनावायरस से ठीक होने वाले 100 मरीजों पर सर्वे किया था।

इस टीम ने अप्रैल से कोरोना के कारण दाखिल होने वाले और डिस्चार्ज होने वालों के घर पर भी जाकर उनके स्वास्थ्य की जानकारी ली। इस सर्वे का पहला चरण जुलाई में समाप्त हुआ। इस सर्वे में औसतन लोगों की उम्र 59 साल की है। पहले चरण में इस सर्वे का परिणाम जो निकल कर आया उसने बताया गया है कि 90% मरीजों के फेफड़े खराब हो चुके हैं।

मतलब की मरीजों के फेफड़े का वेन्टिलेशन और गैंस एक्सचेंज काम नहीं कर रहा। यह लोग अभी भी अच्छे से ठीक नहीं हो सके। बताया जा रहा है कि 400 मीटर भी नहीं चल सकते हैं जबकि, एक स्वस्थ मरीज 500 मीटर तक चल सकता है। कोरोना से ठीक होने वाले मरीजों में से कई मरीज 3 महीने तक ऑक्सीजन के सिलेंडर पर ही रखना पडता है। इतना ही नहीं कुछ मरीजों के शरीर में से एंटीबॉडी ही समाप्त हो गई थी।


अंदाज़न 5% मरीजों का न्यूक्लिक एसिड टेस्ट नेगेटिव था लेकिन, इम्यूनोग्लोबुलीन टेस्ट पॉजिटिव आया था मतलब कि उन्हें फिर से क्वारंटाइन रहना पड़ेगा। यह लोग फिर से कोरोना संक्रमित हुए हैं या फिर पुरानी बिमारी परेशान कर रही है यह पता नहीं चला। जो लोग ठीक हो चुके हैं उनके अंदर बी सेल की संख्या घट गई पेंग का कहना है कि अभी कोरोना सें संक्रमित लोग अच्छे से ठीक नहीं हुए।

सूरत में कोरोना से बड़ीं संख्या में मौत, शनिवार भी चिंताजनक रहा

सूरत में कोरोना के कारण मृतकों की संख्या शनिवार को 600 के पार हो गई। शनिवार को सूरत शहर और जिले में मिलाकर 12 लोगों की मौत हुई। सूरत शहर में 497 और डिस्ट्रिक्ट में 112 मिलाकर कुल 609 लोग की जान जा चुकी है।

आज कुल 262 नए कोरोना के मरीज दर्ज हुए। इनमें 214 शहर के और 48 डिस्ट्रिक्ट के हैं। अब तक शहर में कुल कोरोना संक्रमितों की संख्या 11190 और डिस्ट्रिक्ट में 2735 पर पहुंची है। आज कुल 214 लोग डिस्चार्ज हुए। अब तक डिस्चार्ज मरीजो की संख्या 9579 पर पहुंची है।


इस बीच सेन्ट्रल जोन में बीते 24 घंटे में 32, वराछा ए में 34, वराछा बी में 11, रांदेर में 41, कतारगा में 21, लिंबायत में 20, उधना में 19, अठवा में 36 केस दर्ज हुए। अब तक जोन के अनुसार कुल संक्रमितों की बात की जाए तो सेन्ट्रल जोन में 1315, वराछा ए में 1523, वराछा-बी में 1072, रांदेर में 1388, कतारगाम में सबसे अधिक 2367, लिंबायत में 1538, उधना में 852 और अठवा में 1135 मरीज दर्ज हुए।


बताया जा रहा है कि कोरोना के केसो की संख्या को देखते हुए मनपा ने जिन क्षेत्रों में कोरोना संक्रमण मरीजों की संख्या ज्यादा है वहां पर धन्वंतरि रथ शूरू की है। इसके अलावा कई स्वास्थ्य केन्द्रो पर कोरोना की जांच भी शुरू की है।

सूरत में इन दिनों व्यापार उद्योग को शर्तो के साथ खोलने की छूट दी गई है। प्रतिदिन चार हजार श्रमिक अन्य राज्यों से आ रहे हैं। ऐसे में उनका कोरोना टेस्ट नेगेटिव होने के बाद ही काम पर लेने की मांग की है।

उल्लेखनीय है कि अनलॉक-3 में सरकार ने अभी तक जो बंद थे उनमें से कई संस्थानों को खुलने की छूट दी है यदि सावधानी नहीं बरती तो कोरोना के मामले और तेजी से बढेंगे।

शहर के इन क्षेत्रों ने बढाई चिंता, लगातार बढ रहे कोरोना संक्रमित

कोरोना का तांडव मंगलवार को भी शहर में जारी रहा। सोमवार को को कोरोना के 258 मरीज दर्ज होने के बाद मंगलवार को शहर और जिले में 293 नए मरीज दर्ज हुए। अनलॉक-1 के बाद व्यापार उद्योग खुलने से शहर के जिन क्षेत्रों में कोरोना के केस घट गए थे। वह फिर से बढने लगे है।

मंगलवार को जो 293 केस दर्ज हुए। इनमें सूरत शहर के 199 और डिस्ट्रिक्ट के 94 है। अब तक सूरत में कुल 12819 केस दर्ज हुए है। इनमें से सूरत शहर के 10333 जिले के 2486 है। इनमें से 565 की मौत हो चुकी है। जिसमें कि सिटी के 468 है। अब तक शहर के 7021 और ग्राम्य के 1620 के मिलाकर 8641 लोगों को डिस्चार्ज किया जा चुका है।


जोन के अनुसार देखा जाए तो सेन्ट्रल जोन में रविवार को 23, वराछा जोन-ए में 28, वराछा जोन-बी में 09, रांदेर जोन में 35, कतारगाम जोन में 24, लिंबायत जोन में 19, उधना जोन में 29, अठवा जोन में 32 मरीज दर्ज हुए। इसी तरह से जिले में चौर्यासी तहसील में 09, ओलपाड में 09, कामरेज में 19, पलसाणा में 19, बारडोली में 12, महुवा में 10, मांडवी में 9, मांगरोल में 6 और उमरपाडा में 1 मरीज दर्ज हुए।

मनपा कमिश्नर ने तीन दिन पहले ही शहर के रांदेर और अठवा जोन के नए होटस्पोट के तौर पर बताया था। मंगलवार को भी यहां पर ज्यादा मरीज दर्ज हुए। रांदेर में 35 और अठवा में 32 नए केस दर्ज हुए। गत रोज भी रांदेर में 41 और अठवा में 39केस मिले थे।


इसके अलावा राज्य सरकार ने 1 अगस्त से खुले में मास्क नहीं पहनने वाले और मास्क नहीं पहनने वालों के खिलाफ पांच सौ रूपए के दंड का प्रावधान किया गया है। बताया जा रहा है कि मंगलवार को गुजरात सरकार की ओर से सूरत को कोरोना के इलाज में असरकारक 450 टोसिलिजूमेबऔर 135 इंटोली जूमैब दी गई है।

उल्लेखनीय है कि शहर के कई क्षेत्रों में लगातार बढ रहे कोरोना के केस को देखते हुए सूरत में धन्वंतरि रथ और कई क्षेत्रों में प्राथमिक उपचार केन्द्र पर भी कोरोना का उपचार किया जा रहा है।

सूरत में नियंत्रण से बाहर हो रहा कोरोना?


सूरत में कोरोना के कारण दिन प्रतिदिन परिस्थिति गंभीर होते जा रही है। भले ही प्रशासन की ओर से कोरोना पर नियंत्रण के लिए एडीचोटी का जोर लगाया जा रहा है लेकिन, क़डवी वास्तविकता यह है कि सूरत में कोरोना के आगे किसी का बस नहीं चल रहा।


मंगलवार को सूरत में कोरोना के कारण 21 लोगों की मौत हो गई थी, इसके बाद बुधवार को 12 लोगों की मौत हो गई। अब तक  कुल 495 लोगों की मौत हो चुकी है। बुधवार को नए 256 नए केस दर्ज हुए। इनमें सिटी के 201 और डिस्ट्रिक्ट के 55 है। सूरत में कुल अब तक 11128 कोरोना संक्रमित है। इसमें सूरत सिटी के 9151 और डिस्ट्रिक्ट के 1978 है।

बुधवार को कुल 192 लोगों को डिस्चार्ज किया गया। इसमें सूरत शहर के 129 और डिस्ट्रिक्ट के 63 है। अब तक डिस्ट्रिक्ट के 1205 मिलाकर कुल 7258 लोगों को डिस्चार्ज किया जा चुका है।
मनपा के सूत्रो से मिली जानकारी के अनुसार मनपा के तमाम प्रयासो के बाद भी कोरोना संक्रमण लगातार बढने के कारण मनपा अब नई रणनीति बना रही है।

इसमें मनपा ने कुछ कड़े फैसले लिए है। 28 जुलाई के शाम पांच बजे से 30 जुलाई के शाम पांच बजे तक कॉज-वे बंद करने का फैसला किया गया है। मूर्तियों का विसर्जन भी यहां से नहीं हो सकेगा। सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार बुधवार को सेन्ट्रल जोन में 38, वराछा ए जोन में 22, वराछा बी जोन में 18, रांदेर जोन में 38, कतारगाम जोन में 22, लिंबायत जोन में 18, उधना जोन में 15 और अठवा जोन में 30 मरीज दर्ज हुए।

सूरत के ग्राम्य क्षेत्रों की बात करें तो ओलपाड़ तहसील में 10, चौर्यासी में 4, कामरेज में 11, पलसाणा में 9, बारडोली में 16, मांगरोल में 2, महुवा में 2 और मांडवी में एक मरीज दर्ज हुए। सूरत मनपा की ओर से कई क्षेत्रों में फिर से सर्वे कर दवाओं का वितरण किया जा रहा है। उल्लेखनीय है कि सूरत में तो कोरोना अब नियंत्रणहीन होते दिख रहा है, लेकिन साथ में अब सूरत के ग्राम्य हिस्सो में भी लगातार परिस्थिति बिगड रही है।


इस दौरान सूरत जिला पंचायत के विपक्ष के  सदस्य दर्शन नायक ने कोरोना की वास्तविक परिस्थति बताने के लिए परिस्थिति से गुहार लगाई है।

सूरत के कपड़ा व्यापारियों को १५० करोड़ का बोगस बिलींग घोटाला पकडाया!

Posted by Business Patra on Wednesday, 22 July 2020

कोरोना में १९ दिन में २११ मौत, महिलाओं से दो गुना पुरूष!

कोरोना के कारण बीते 19 दिन में 211 लोगों की मौत हो चुकी है। 22 मार्च से 30 जून तक 100 दिन में कोरोनावायरस मरने वालों की संख्या 182 थी। जो जुलाई महीने के 19 दिन में डबल हो गई है सिर्फ 19 दिन में ही कोरोना के कारण 211 लोगों की मौत हो गई।


अगर उम्र के अनुसार देखा जाए तो 40 साल से कम हो ऐसे 9 लोग, 41 से 50 के बीच 34, 51 से 60 के बीच 75, 61 से 70 साल के बीच 46, 71 से 80 के बीच 34 और 80 से अधिक उम्र वाले में से 4 लोगों की मौत हो चुकी है।बताया जा रहा है कि मृतकों में 71 महिलाएं हैं और जबकि उनके सामने 140 पुरुष हैं।


सूरत में लोक डाउन के दौरान कोरोनावायरस जो और मृतकों की संख्या कम थी लेकिन अनलॉक बन के बाद जैसे ही व्यापार उद्योग शुरू हुआ वैसे ही कोरोना के मरीजों की संख्या भी तेजी से बढ़ने लगी। फिलहाल शहर में रोज 200 से ढाई सौ के करीब करो ना कि मरीज आ रहे हैं। इसके अलावा सरकारी चौपड़ें पर रोज 10 से 15 मौत हो रही है। सूरत महानगर पालिका की ओर से आपको कोरोना का टेस्ट बढ़ाने का निर्णय लिया गया है।

सूरत महानगर पालिका ने मनपा के 800 कोरोना की जांच करना शुरू कर दी है। बताया जा रहा है कि महानगर पालिका की ओर से शहरी जनों से सोशल डिस्टैंस का पालन और मास्क पहनने का अपील बार-बार की जा रही है। इसके बावजूद कई क्षेत्रों में लोग परिस्थिति को समझ नहीं रहे हैं। सूरत में कतारगाम क्षेत्र सबसे ज्यादा संवेदनशील माना जा रहा है। यहां पर से हीरा श्रमिक बड़ी संख्या में संक्रमित हुए हैं।

फिलहाल शहर में स्वैच्छिक लॉकडाउन की परिस्थिति है। सूरत महानगर पालिका की ओर से हेयर सैलून और ब्यूटी पार्लर संचालकों के लिए गाइडलाइन जारी की गई है। यहां पर प्रतिदिन बड़ी संख्या में लोग आते हैं। इसलिए यहां पर ज्यादा संक्रमण फैलने का भय है। इस परिस्थिति को समझते हुए हेयर सैलून के लिए नई गाइडलाइन जारी की है। बताया गया है कि यहां पर 50% स्टाफ से काम करने के लिए और यदि जगह कम हो तो सिर्फ एक ही काम कराने के लिए कहा गया है।

इसके अलावा सभी लोगों को मास्क अनिवार्य है। हर ग्राहक के ग्लब्स बदलना भी अनिवार्य है। हर एक ग्राहक के बाद उपयोग में लेने वाला और कपड़ा बदलना पड़ेगा। साथ ही इस्तेमाल की जाने वाले साधन को 30 मिनट तक गर्म पानी में गर्म करना पड़ेगा।

अब से पाँच हजार लोगों की रैपिड टेस्ट रोज करेगी मनपा!

सूरत में लगातार बढ़ रहे कोरोना संक्रमण पर रोक लगाम लगाने के लिए मनपा ने अब से प्रतिदिन 5000 रैपिड एंटीजन टेस्ट करने का तय किया है। शहर में सर्दी,खांसी और बुखार के लक्षण वाले सभी मरीजों का रैपिड एंटीजन टेस्ट किया जाएगा।

मिली जानकारी के अनुसार सूरत में कोरोनावायरस लगातार तेजी से बढ़ रहे हैं।प्रशासन के हर प्रयास अभी तक नाकाफी साबित हुए हैं। इस पर प्रशासन ने अब एक और सख्त कदम उठाते हुए प्रतिदिन 5000 से अधिक रैपिड टेस्ट करने का तय किया है। फिलहाल 15 सौ से अधिक किए जा रहे हैं। लेकिन मनपा ने अब टेस्ट बढ़ाने का फैसला करते हुए 5000 तक रेपिडेक्स करने का तय किया है।

आपको बता दें कि से मरीज के नाक में से और गले में से स्वाग सैंपल लिया जाता है। इसके 20 से 30 मिनट के बाद ही पॉजिटिव या नेगेटिव का रिजल्ट आ जाता है। हालांकि इससे यदि मरीज का रिपोर्ट नेगेटिव है तो जरूरी नहीं कि वास्तव में उसका परिणाम नेगेटिव हो। कभी-कभी पॉजिटिव भी हो सकता है।

उल्लेखनीय है कि सूरत में मनपा ने पहले भी रैपिड एंटीजन टेस्ट प्रयास पहले भी शुरू किए थे। हालांकि कुछ दिनों बाद बंद कर दिया गया था । फिलहाल कुछ दिनों से यह टेस्ट शुरू किया गया है। सूरत महानगर पालिका ने कोरोना के बढ़ते मरीजों की संख्या को देखते हुए शहर के 8 प्राथमिक जांच करने का तय किया है।

कल से ही शहर के आठ स्वास्थ्य केंद्रों में कोरोना की जांच की जा रही है। अब मनपा ने माइक्रो क्लस्टर बनाने का फैसला किया है। जिन क्षेत्रों में कोरोनावायरस का केस मिले वह पूरा क्षेत्र कंटेनमेंट करने की अपेक्षा उस घर और उसके आसपास के लोगों को क्ल्स्टर कर दिया जाएगा।

रविवार को सरथाणा थाना क्षेत्र में अलग-अलग जगह क्ल्सटर अमल किस तरह किया जा रहा है। माइक्रो क्लस्टर में एक ही एंट्री और एक ही एग्जिट रहेगी। माइक्रो कन्टेनमेंट खुलेगा तब लोगों को इसके बारे में बोर्ड लगाकर सूचना दे दी जाएगी।

उल्लेखनीय है कि रविवार को पूरे शहर में एक बार फिर से कर्फ़्यू लगेगा। ऐसी अफवाह चली इसके कारण लोग डर गए थे। हालांकि बाद में पुलिस कमिश्नर ने इस बात को अफवाह गिराया।

रविवार को सूरत में कोरोना के 294 मरीज दर्ज हुए। जिनमें से सूरत शहर के 206 मरीज और सूरज जिले के पचासी थे। सूरत में अब तक कुल अब कोरोना मरीजो की संख्या 10,287 पर पहुंच गई है।और मृतकों की संख्या 439 पर पहुंच गई है।

सूरतीओं पर हावी हो रहा कोरोना, आज भी बड़ी संख्या में मरीज..


बीते तीन सप्ताह से कोरोना ने सूरत में भयंकर रूप दिखाना शुरू कर दिया है। कोरोना के कारण पूरे शहर में भय का माहौल पैदा हो गया है। सभी व्यापार उद्योग अब स्वैच्छिक बंद हो रहे हैं।

सूरत में गुरूवार को को कुल 234 कोरोना पॉजिटिव मरीज दर्ज हुए। इसमें सूरत सिटी के 177 हैं और जिले के 57 हैं। अब तक कोरोना के कारण शहर में कुल शहर में 8107 और जिले में 1594 केस दर्ज हुए हैं। कुल मिलाकर शहर और जिले में कोरोना संक्रमितो की संख्या 9701 पर पहुंच गई है। आज कुल 15 लोगों की मौत के साथ कुल 409 लोगों की जान जा चुकी है।

इसमें शहर के 350 और जिले के 51 मरीज हैं। इसके अलावा शहर और जिले में 180 लोगों को डिस्चार्ज किया गया। अब तक कुल 6115 लोगों को डिस्चार्ज किया जा चुका है। इस भयावह परिस्थिति को देखते हुए शहर में लोग स्वैच्छिक बंद की ओर बढ़ रहे हैं।


शहर के कई क्षेत्रों में लोगो ने कोरोना के भय के कारण स्वैच्छिक बंद करना शुरू कर दिया है। शहर के वराछा, कतारगाम, पूणा, रांदेर आदि क्षेत्रों में लोगो ने दो दिन पहले ही दुकाने स्वैच्छिक बंद कर दी है।


एम्स के चार डॉक्टर सूरत मे
सूरत में कोरोना के बढ़ते मरीजों की संख्या देखते हुए दिल्ली से सूरत दौड़ी आई एम्सअस्पताल के डॉक्टर की टीम ने मीडिया को बताया कि सूरत में कोरोना में इस्तेमाल की जाने वाली रेमेडेसिवीर और टॉसिलिजूमैब का बिन जरूरी उपयोग होता है यह इंजेक्शन उन्हीं को दिया जाए जिन की आवश्यकता है नहीं तो इसका नुकसान भी मरीज को हो सकता है।

सूरत में टॉसिलिजूमैब नाम की दवा की कमी के जवाब में उन्होंने यह जानकारी दी। एम्स के डायरेक्टर डॉ रणदीप गुलेरिया ने बताया कि यहां पर 4 लोगों की टीम आई है। उन्होंने यहां के डॉक्टर से बात की स्थानीय मुद्दों की जानकारी ले रहे हैं। दिल्ली तथा अन्य शहरों में जो कार्यवाही चल रही है। उसके अनुसार यहां भी काम किया जाएगा। प्राइवेट और निजी अस्पताल सभी से प्लाजमा थेरेपी और आइसोलेशन के बारे में चर्चा की जाएगी।

फिलहाल यहां पर कोविड की हॉस्पिटल तैयार हो गई है और बैड की संख्या भी बढ़ाई जा रही है। इसके अलावा उन्होंने यह भी बताया कि इंजेक्शन की कमी को लेकर नियम बनाए जा रहे हैं। जल्दी ही जिन लोगों को जरूरत है ऐसे लोगों को इंजेक्शन सरलता से मिल जाएगी।
उल्लेखनीय है कि सूरत में कोरोना के मरीज तेजी से बढ़ रहे हैं।

प्रतिदिन 200 के ऊपर कोरोना के मरीज दर्ज हो रहे हैं। इसके अलावा मृतकों की संख्या बढ़ रही है। जिसके चलते परिस्थिति गंभीर हो गई है। सूरत में अब कई स्थानों पर तो स्वैच्छिक बंद गया है। कपड़ा बाजार और हीरा बाज़ार, अडाजण तथा पांडेसरा आदि कई क्षेत्रों में लोगों ने 5:00 बजे तक ही दुकान खोलने का फैसला किया है।

बताया जा रहा है कि पहले लोग लॉकडाउन डाउन में सरकार से चाहते थे कि व्यापार धंधे जल्दी शुरू हो लेकिन सूरत की परिस्थिति देखते हुए लोगों ने खुद ही स्वैच्छिक लॉकडाउन लगा दिया है। इसके अलावा शहर में बढ़ते हुए कोरोना के मरीजों की संख्या को रोकने के लिए मनपा पूरा प्रयास कर रही है। मनपा की ओर से शहर में धनवंतरी रस चलाया जा रहा है जो कि मरीजों की वहीं पर जांच करके तुरंत ठीक पूर्णा का निदान कर रहे हैं और जरूरत पड़े तो मरीज को वहां से अस्पताल भेज दिया जाता है।

आज एमके डायरेक्टर रणदीप गुलेरिया के सहित कुल 4 डॉक्टर सूरत की परिस्थिति की समीक्षा करने आए हैं। उन्होंने सिविल हॉस्पिटल की विजिट की इसके बाद आला अधिकारियों से मीटिंग करके यहां की और परिस्थिति की जानकारी ली