विदेश में भेजे जानेवाली रक़म पर टीसीएस की राशि बढ़ी

  1. देश के बाहर विदेशी मुद्रा के बढ़ते हुए खर्च को नियंत्रित करने के लिए ट्रेवलिंग तथा अन्य कारणो से बाहर भेजे जानी वाली Amount पर TCS की रेट 5% से बढ़ा कर 20% कर दी गई है।
  2. इसलिए Foreign Travelling तथा अन्य उद्देश्य के लिए भेजे जाने वाली amount पर 1st July से TCS की Rate 5% से बढ़ा कर 20% कर दी गई है। जैसे यदि आप foreign Tour के लिए अथवा अन्य कोई उद्देश्य के लिए 10 lacs भेज रहे है तो आपको 2 lacs का TCS भी Tour/Travel agent /Bank को देना होगा।

अभी तक International credit card से किया जाने वाला भुगतान इससे मुक्त था लेकिन 16th May से Credit card द्वारा किए जाने वाले भुगतान पर भी Credit card companies द्वारा 20% TCS लिया जाएगा। 30th June तक 7 lacs से अधिक होने पर ही 5% TCS है। लेकिन 1st July से बिना किसी छूट के प्रत्येक विदेशी भुगतान (Travelling etc) पर 20% TCS लगेगा। इससे जो लोग foreign travelling/Exhibition/ Roadshow/ Conferences/Group tour/Marriage करते है उन पर काफी प्रभाव पड़ेगा।

इसलिए अपने Foreign Travelling तथा अन्य विदेशी भुगतान को योग्य तरीके से दिखाए ।

विदेशी मुद्रा में प्रत्येक भारतीय RBI की Prior Approval के बिना 2,50,000 US डालर तक विदेशी भुगतान कर सकता है। 15 मई तक अंतर्राष्ट्रीय क्रेडिट कार्ड से किया गया Payment 2,50,000 की limit में include नहीं था, लेकिन 16 मई से अंतर्राष्ट्रीय क्रेडिट कार्ड के माध्यम से किया गया Payment भी 2,50,000 की Limit के अंतर्गत कवर किया गया है।

यदि आप 2,50,000 USD से अधिक का Foreign Payment करते है तो आपको RBI की पूर्व स्वीकृति लेना जरुरी है।हालांकि चिकित्सा उपचार और शिक्षा के लिए किए गए Foreign Payment पर TCS की Rate कम है।

सरकार की इस चाल से आप के हर खर्च की जानकारी होगी आयकर विभाग के पास


केन्द्र सरकार की नज़र से अब चोरी करने वाले नहीं बच पाएंगे। सरकार की ओर से करचोरों को पकड़ने के लिए नए सिस्टम बनाए जा रहे है। आयकर की तरह अब जीएसटी में भी प्रतिदिन नए नियम आ रहे है। जीएसटी में भी अब टीसीएस से प्रावधान आ गए है।


सूरत चेम्बर ऑफ कॉमर्स द्वारा शुक्रवार को टीसीएस और ई इनवोईस के नियम और जीएसटी अपडेट विषय पर एक वेबिनार आयोजित किया गया था । इसमें जानकारी नीरव जोगानी ने कहा कि सरकार ने एक अक्टूबर को टेक्स कलेक्ट एट सोर्स ( टीसीएस ) का नियम तमाम उद्योग के लिए लागू कर दिया है ।यह प्रावधान सरकार ने करदाताओं के डाटा संग्रह के लिए किया जा रहा है।है।

इस प्रावधान के अनुसार कोई भी सामान बेचते समय खरीदार या ग्राहक से टीसीएस वसूलना है और सरकार को देना है । केवल कुछ वस्तुओं के विक्रेता ही इसे एकत्र कर सकते हैं । उन्होंने कहा कि वर्ष के दौरान जब भुगतान 50 लाख से अधिक हो तो टीसीएस वसूला जाता है । कई लेनदेन पर टीसीएस लागू होता है । अगर शिक्षा या किसी भी कारण से विदेश में पैसा भेजना चाहते हैं , तो 7 लाख रुपये की सीमा है।

यदि ट्रांजेक्शन 7 लाख रुपये से अधिक है , तो इसके लिए टीसीएस लिया जाएगा । जब विदेशी दौरे पर भी एक रुपया खर्च किया जाता है , तो उस पर टीसीएस लगता है । उन्होंने 1 अक्टूबर , 2020 से जीएसटी में शामिल ई – इन्वोइस प्रणाली के बारे में भी जानकारी दी।

उन्होंने कहा कि अक्टूबर में ई – चालान के लिए केवल 30 दिन का समय दिया गया है ।उसके बाद रोज ऑनलाइन चालान रखना होगा ।उन्होंने कोविड -19 , जीएसटी में बदलाव , इनपुट टैक्स क्रेडिट के कारण आयकर की देय तिथि में दी गई छोटी और बड़ी रियायतों के बारे में विस्तार से चर्चा की ।

जीएसटी के साथ चुकाना होगा और एक टैक्स, जानिए क्या?


एक अक्टूबर से सरकार जीएसटी के नियम में कुछ परिवर्तन करने के मूड में दिख रही है। नए नियमों के अनुसार यदि किसी कारोबारी ने किसी ग्राहक को एक साल में पचास लाख रुपए से अधिक का माल बिक्री करेगा तो उसे माल की कीमत में जीएसटी के साथ स्टॉक के 0.1 प्रतिशत जितना टीसीएस बी वसूल करना होगा।

यह नियम आयकर में धारा 206C(1H) के तहत 1 अक्टूबर 2020 से ऐसे कारोबारियों पर लागू होगा जिनका टर्नओवर पिछले वित्तीय वर्ष में 10 करोड़ से ज्यादा का होगा।


आयकर विभाग की नजर अब उन लोगों पर है जो लोग बड़े बडे खर्च करते है लेकिन सरकार से जानकारी छुपाकर आयकर छुपा लेते है। इसक चलते आयकर विभाग ने अप्रत्यक्ष ढंग से भी अन्य स्रोतो से लोगों की खर्च की जानकारी एकत्रित कर रहे हैं। अब हर विदेश यात्रा तथा महंगी गाडी खरदीने वालो और साल भर में एक लाख से ज्यादा बिजली बिल चुकाने वालों पर आयकर विभाग की नजर होगी।

विदेशी यात्रा की बुकिंग पर ट्रैवल एजेंट टूर पैकेज के साथ 5% टीसीएस भी वसूल करना पडेगा। इसके अलावा विदेश में 7 लाख से ज्यादा रकम भेजेंगे तो उस पर भी 5 फीसदी टीसीएस देना होगा। कारोबारी करयोग्य वेतन देते है तो टीडीएस काटना होगा।


इसके अलावा अन्य कई परिवर्तना भी किए गए है। इन नियमों के अनुसार सालभर में किसी व्यक्ति को कमीशन 15000 से ज़्यादा देने पर 5% टीडीएस देना होगा। इसी तरह किराया वर्ष भर में 2.40 लाख से ज्यादा देने पर 10%, 30 हजार से ज्यादा देने पर 10% लक्की ड्रॉ में इनाम 10 हजार से ज्यादा देने पर 30% ब्याज, 5000 से ज्यादा देने पर 10% टीडीएस काटना होगा।

उल्लेखनीय है कि आयकर विभाग की ओर से नियमो में कई परिवर्तन किए जा रहे हैं। कई नियमों के चलते करदाताओ को राहत होगी, जबकि कई नियमों के चलते करदाता अभी से नाक सिकोड़ रहे है।